KHABAR: चेक बाउंस मामले में युवक को सजा, 2 मामलों में 4-4 महीने की जेल और 30-30 हजार का जुर्माना लगाया,पढ़े खबर

MP 44 NEWS May 19, 2025, 1:51 pm Technology

चित्तौड़गढ़ - चित्तौड़गढ़ में आपसी जान-पहचान के भरोसे पर दी गई उधारी लौटाना एक व्यक्ति को महंगा पड़ गया। समय पर पैसे वापस नहीं करने और दिए गए चेक बाउंस होने पर मामला कोर्ट तक पहुंचा। कोर्ट ने इस मामले में आरोपी को दोषी मानते हुए चार-चार महीने की जेल और 30-30 हजार रुपए के जुर्माने की सजा सुनाई है। परिवादी गोविंद कुमार चावला पुत्र राजकुमार चावला, गांधीनगर का निवासी है। उनकी आरोपी सद्दीक अहमद पुत्र शफी मोहम्मद निवासी भिस्ती खेड़ा, चामटी खेड़ा रोड चित्तौड़गढ़ से अच्छी जान पहचान थी। इस आपसी विश्वास के चलते आरोपी ने अपने काम के लिए समय-समय पर कुल 2 लाख रुपए की नकद उधारी गोविंद कुमार से ली थी। वापसी के लिए दिए थे 2 चेक, दोनों ही बाउंस उधारी की रकम लौटाने के लिए आरोपी सद्दीक अहमद ने इलाहाबाद बैंक शाखा चित्तौड़गढ़ के अपने बैंक खाते के 2 अलग-अलग चेक, हर 1,00,000 रुपए के, भरकर हस्ताक्षर कर परिवादी को दिए। लेकिन जब परिवादी ने दोनों चेक भुगतान के लिए अपने बैंक में लगाए, तो दोनों चेक बाउंस हो गए, क्योंकि आरोपी के खाते में पर्याप्त राशि नहीं थी। नोटिस के बाद भी नहीं चुकाई रकम इस पर परिवादी ने अपने अधिवक्ताओं एडवोकेट ओमप्रकाश शर्मा, राजेन्द्र सिंह चौहान और सत्यनारायण माली के जरिए से आरोपी को रजिस्टर्ड एडी नोटिस भेजा। इसके बावजूद आरोपी ने कोई भुगतान नहीं किया और न ही संपर्क किया। कोर्ट में पेश हुआ परिवाद, सुनाया फैसला न्यायिक प्रक्रिया के तहत परिवादी ने अधिवक्ताओं की मदद से कोर्ट में मामला दायर किया। इस पर न्यायालय में सुनवाई हुई और दोनों मामलों पर अलग-अलग फैसला सुनाया गया। अतिरिक्त न्यायिक मजिस्ट्रेट चित्तौड़गढ़ की पीठासीन अधिकारी संगीता मोगा ने दोनों मामलों में सुनवाई पूरी कर आरोपी सद्दीक अहमद को नेगोशिएबल इंस्ट्रूमेंट एक्ट की धारा 138 के तहत दोषी करार दिया। कोर्ट ने आरोपी को हर मामले में 30-30 हजार रुपए का जुर्माना लगाया। यानी आरोपी को अब 130000-130000 रुपए चुकाना होगा। इसके अलावा आरोपी को 4-4 महीने की सजा सुनाई।

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