उज्जैन - सावन-भादौ माह में भगवान महाकाल की शाही सवारी निकाली जा रही हैं। भगवान महाकाल 6 स्वरूपों में प्रजा का हाल जानने निकले। रामघाट पर सवारी का पूजन किया गया। यहां हेलिकॉप्टर से सवारी पर फूल बरसाए गए। सीएम डॉ. मोहन यादव ने कहा ये बाबा महाकाल की शाही नहीं राजसी सवारी है। केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने सत्यनारायण मंदिर के पास पालकी में सवार भगवान चंद्रमौलेश्वर का पूजन किया। शाही सवारी में भगवान महाकाल चंद्रमौलेश्वर, शिवतांडव, उमा-महेश, होलकर स्टेट का मुखारबिंद, घटाटोप मुखौटा, सप्तधान मुखारबिंद और मनमहेश स्वरूप में दर्शन दे रहे हैं। इस बार शाही सवारी का रूट 7 किलोमीटर है। शाही सवारी में 70 भजन मंडलियां लोकनृत्य और भजन गाते हुए चल रही हैं। खास है कि भाद्रपद की कृष्ण पक्ष की अमावस्या इस बार 2 सितंबर के दिन महा नक्षत्र, शिव योग की साक्षी में आई है। चार साल में एक बार ऐसी स्थिति बनती है, जब सोमवती अमावस्या के साथ भगवान महाकालेश्वर की सवारी का योग रहता है।