KHABAR:- धर्म सभा - धर्मप्रिय और लोकप्रिय बनने से पहले परिवार प्रिय बनना जरूरी है- साध्वी प्रवृद्धि श्री जी मसा ने धर्म सभा को संबोधित किया,आस्था:घर-घर ध्वजा महोत्सव में उमड़े श्रद्धालु भक्त, पढ़े खबर

MP 44 NEWS May 6, 2024, 11:09 am Technology

नीमच , धर्म प्रिय लोकप्रिय बनने से पहले परिवार प्रिय बनना आवश्यक है , धर्म प्रिय व्यक्ति लोकप्रिय होता ही है और लोकप्रिय व्यक्ति परिवार प्रिय होता ही है। अपना परिवार जिसे प्रिय नहीं या जो परिवार को प्रिय नहीं और वह लोगों को प्रिय बनाने या लोगों का प्रिय बनने के लिए जाए तो कभी सफल नहीं हो सकता है। ऐसे ही लोगों में अप्रिय या लोगों को प्रिय नहीं मानता और धर्म आराधना को प्रिय माने वह भी कामयाब नहीं होता है। यह बात सादड़ी अमित शिशु मसाकी शिष्या साध्वी शुद्धि प्रसन्ना श्रीजी मसा की शिष्या प्रवृध्दि श्रीजी मसा ने कही।वे जनरल ट्रस्ट विकास नगर के तत्वाधान में महावीर जिनालय विकास नगर मंदिर जिन्नौद्धार महोत्सव के अंतर्गत घर-घर ध्वज महोत्सव के नम दिवस विकासनगर में आयोजित धर्म सभा में बोल रही थी उन्होंने कहा कि वस्तु पाल तेजपाल के जीवन में अपने को उन्होंने बचपन से ही धर्म से संबंध जोड़ लिया था और जो जीवन के अंतिम समय तक अटूट रहा है इसके साथ ही उन्होंने जनता का प्रेम और विश्वास भी इसी प्रकार जीता था ।जो प्रेम से जीत गया वह व्यक्ति पूरी तरह सफल होता है। । गुरुआज्ञा की कभी अवहेलना नहीं करना चाहिए। साधु संत समाज का हृदय व संस्कृति के प्राण होते हैं। उनके साथ हुआ दुष्कृत्य हर हाल में अक्षम्य होता है। नवकार मंत्र के जाप से प्रायश्चित कर सकते हैं। बहू सास के साथ मां की तरह प्रेम भाव से व्यवहार करें तो घर स्वर्ग बन सकता है। निरंतर प्रेम पूर्वक व्यवहार करने से घृणा का विचार भी परिवर्तन हो सकता है घृणा भी प्रेम में परिवर्तित हो सकती है।प्रेम देंगे तो प्रेम मिलेगा। प्रेम से तो पौधे भी खिलते हैं घृणा से तो पौधे भी सूख जाते हैं। हमें सोना भी मिलता हो और भाई का रिश्ता नहीं मिलता हो तो वह सोना पीली मिट्टी के समान होता है। यदि हम रिश्तो का आदर करेंगे तो वह संकट की घड़ी में हमारे काम आएंगे। नदि जैसे-जैसे आगे बढ़ती है वह गहरी होती जाती है और एक दिन में सागर में जाकर मिल जाती है। इस प्रकार संसार में रहते हुए मैत्री भाव भी धीरे-धीरे आगे बढ़ता है और वह गहरा होता जाता है एक दिन वह गहरे सागर में जाकर मिल जाता है। क्षमा मांगने और देने वाले दोनों ही महावीर होते हैं। इंसानियत का संस्कार सदैव याद रखना चाहिए और इसका पालन करना चाहिए इंसानियत को ध्यान में रखते हुए सदैव दूसरों की सहायता करनी चाहिए।इससे पूर्व महावीर जिनालय पर प्रस्तावित धर्म ध्वजा को शिरोधार्य कर श्रद्धालु भक्तों द्वारा धर्म ध्वजा विकास नगर क्षेत्र के प्रमुख मार्गो से यात्रा निकाली गई। धर्म ध्वजा महोत्सव में धर्म लाभार्थी मुकेश कुमार नेनावटी परिवार थे। धर्म सभा में नैनावटी परिवार की मातृ शक्ति द्वारा स्वागत गीत प्रस्तुत किया गया। मुकेश कुमार महावीर कुमार चोपड़ा द्वारा सभी समाज जनों से धर्म ध्वजा के धर्म सभा में परिवार सहित पधारने की विनती की। और आमंत्रण दिया। रविवार सुबह 8बजे विकास नगर महावीर जिनालय से धर्म ध्वजा यात्रा नगर के प्रमुख मार्ग से निकल कर विकास नगर गार्डन के पास के मुकेश नैनावटी के आवास पर पहुंचकर धर्म सभा में परिवर्तित हो गई। कार्यक्रम का संचालन राजेंद्र बंबोरिया ने किया तथा आभार महावीर जिनालय विकास नगर ट्रस्ट अध्यक्ष राकेश जैन आंचलिया ने व्यक्त किया। ..... ध्वजा यात्रा आज विकास नगर में, ..... महावीर जिनालय विकास नगर ट्रस्ट के तत्वाधान में घर-घर ध्वजा महोत्सव के अंतर्गत आयोजित धर्म ध्वजा यात्रा की धर्म सभा सोमवार सुबह 8 बजे 520, 14/2 विकास नगर गार्डन के पास स्थित मुकेश कुमार महावीर चोपड़ा के आवास पर आयोजित की जाएगी सभी श्रद्धालु समय पर उपस्थित होकर धर्म लाभ का पुण्य ग्रहण करें।

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