नीमच12जनवरी( केबीसी न्यूज़)जिसके पास भक्ति होती है उसके पीछे पूरी दुनिया होती है इसलिए मोह माया में पड़ने के बजाय भगवान की भक्ति करे।भगवान से बीमा करने का फायदा जीवन साथ भी और जीवन के बाद भी होता है इसलिए सदैव ईश्वर
स्मरण करते हुए जीवन को आनंद से जीना चाहिए। जहां पर गाय का पूरा कुल निवास करता है वहां 33 करोड़ देवी देवता व गोपाल का वास होता है।
राम के स्मरण बिना जीवन का कल्याण नहीं होता है। यह बात जगतगुरु स्वामी श्री धीरेंद्राचार्य जी महाराज ने कही।वे श्री पंचमुखी बालाजी मंदिर परिवार एवं समस्त भक्तगण काना खेड़ा के तत्वाधान एवं पंचमुखी बालाजी मंदिर स्थापना दिवस एवं मकर संक्रांति के पावन पर्व के उपलक्ष में आयोजित श्री राम कथा एवं अखंड रामायण पाठ के मध्य आयोजित धर्म सभा में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि भौतिकवादी दिखावा हमारी सनातन संस्कृति को समाप्त कर रहा है। भौतिकवादी दिखावे का त्याग कर जीवन में परमात्मा की भक्ति में लीन होना चाहिए तभी जीवन का कल्याण हो सकता है।
संत दर्शन से जीवन में जीते जी मोक्ष हो जाता है। पाप कर्म दोष से बचना चाहिए नहीं तो हमें पाप के कारण दुःख भी मिलता है। जीवन के मन में सुधार होगा तो भगवान स्वीकार कर लेगा। तुलसी के पौधे की जगह मनी प्लांट, गाय की जगह कुत्ते ने ले ली है इसीलिए कलयुग में हर परिवार दुःखी है। जहां तुलसी रहती है वहां भगवान की दृष्टि रहती है और जहां गाय पाली जाती है वहां 33 करोड़ देवी देवताओं का वास होता है। हरि अनंत हरि कथा अनंत होती है। श्री रामजी और सीताजी ने चातक, कोयल, तोता चकोर,मोर आदि5पक्षियों के तरह जीवन जीने का संकल्प लिया था। मातृशक्ति को सर पर पल्ला प्रथा का पालन ग्रामीण क्षेत्र में अधिक किया जाता है।श्री राम जी और सीता जी ने कभी भी जीवन में एक दूसरे पर क्रोध नहीं किया। पिता के यहां बेटी को शोक संतान के जन्म पर सूतक लगने में सर पर पल्लू ढक कर जाना चाहिए।यदि खुले सर जाती है तो पति की आयु कम होती है। मातृशक्ति को मंदिर, संत,भागवत सत्संग आदि स्थानों पर खुले सर नहीं जाना चाहिए नहीं तो रिद्धि सिद्धि चली जाती है।
महाराज श्री ने श्री रामजी वनवास प्रसंग, राक्षसी ताड़कासुर, मारिच और सुबाह राक्षक वध , श्री राम विवाह यज्ञ, सीता स्वयंवर, अर्थ, धर्म, मोक्ष, काम, देवी अहिल्या, ऋषि गौतम विश्वकर्मा, श्री राम ब्रह्मा, विष्णु आदि विषय का वर्तमान परिपेक्ष्य में महत्व प्रतिपादित किया। श्री राम कथा में काना खेड़ा, घसुण्डी, खान खेड़ी, मनासा, रातडिया,गिरदोडा, बिसलवास, रेवली देवली सहित विभिन्न गांवों से श्रदालू भक्त सहभागी बने।
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श्री पंचमुखी बालाजी मंदिर परिवार द्वारा आयोजित श्री राम कथा के मध्य पंचमुखी बालाजी मंदिर के प्रतिदिन दोपहर 12 से 4 बजे तक समीप मानव सेवार्थ सिद्धी विनायक थेरेपी सेंटर की टीम द्वारा थेरेपी प्रशिक्षक प्रदीप राव मराठा के नेतृत्व में टीम द्वारा कथा में उपस्थित भाग लेने वाले श्रद्धालु भक्तों को घुटने ,कमर, साइटिका स्लिप डिस्क जोड़ों का दर्द व पेट संबंधी आदि रोगों का निवारण के लिए निःशुल्क दर्द निवारण थेरेपी प्रदान की जा रही है।